UP: सीएम योगी ने वितरित किए नियुक्ति पत्र, बोले- पहले जिले एक परिवार में बंटते थे और चाचा-भतीजा वसूली करते थे
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बुधवार को लोकभवन में 7720 लेखपालों को नियुक्ति पत्र वितरित करेंगे। इन लेखपालों का चयन उप्र अधीनस्थ सेवा चयन आयोग से हुआ है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 2022 की राजस्व विभाग के द्वारा भर्तियों को अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने पूरा कर लिया है। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों की फितरत होती है अच्छे कार्यों में रोड़े अटकाना और गुमराह करना। उन्होंने इस कार्य में भी रोड़े अटकाए लेकिन अधीनस्थ चयन आयोग सुप्रीम कोर्ट तक गया और और आज ये नियुक्ति पत्र वितरित किया जा रहा है। इस प्रक्रिया के पूरी होते ही प्रदेश में 30837 लेखपालों की नियुक्ति प्रक्रिया पूरी हो जाएगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ लखनऊ के लोकभवन में 7720 लेखपालों को नियुक्ति पत्र वितरण कार्यक्रम में बोल रहे थे।
#WATCH | Lucknow, UP | CM Yogi Adityanath says, "..Some people have the habit of creating obstacles in the way of good work. Attempts were made to create obstacles in appointment letter distribution to newly appointed Lekhpals. Today, 7,200 Lekhpals are being given appointment… pic.twitter.com/lfeXjpJVQC
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) July 10, 2024
उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा पिछले 7 वर्षो से नियुक्ति प्रक्रिया निष्पक्ष रूप से चल रही है। इसकी वजह से 6 लाख से ज्यादा युवा प्रदेश की उन्नति में सहयोग दे रहे है। पुलिस विभाग ने ही अकेले एक लाख 55 हजार युवा भर्ती किए। अब बिना भेदभाव और आरक्षण नियमों का पालन करते हुए युवा योग्यता अनुरूप भर्ती हो रहे हैं।
उन्होंने प्रदेश की पूर्ववर्ती सपा सरकार पर हमला करते हुए कहा कि 2017 से पहले भर्ती प्रक्रिया में तमाम समस्याएं थीं। एक परिवार आपस में जिले बांट लेता था और चाचा-भतीजे वसूली पर निकल जाते थे लेकिन नियुक्ति प्रक्रिया में निष्पक्षता से युवाओ में विश्वास आया है। युवाओं का विश्वास ही हमारी ताकत है। उन्होंने कहा कि ये वही प्रदेश है जब यहां का युवा बाहर जाता था तो पहले ही छांट दिया जाता था लेकिन आज युवा का सम्मान होता है। लोग समझ गए हैं ये नया उत्तर प्रदेश है। नए युवा हैं।
उन्होंने कहा कि पहले की सरकारों की नीयत साफ नहीं थी। भाई-भतीजावाद हावी होता था। कोर्ट से स्टे होते थे। पैसा सरकार के गुर्गों और दलालों की जेब में जाता था।