अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने क्रिप्टोकरेंसी नियमन कानून पर किए हस्ताक्षर, स्टेबलकॉइन को मिलेगी कानूनी मान्यता

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने क्रिप्टोकरेंसी के नियमन के लिए 'जीनियस एक्ट' पर हस्ताक्षर किए, जिससे स्टेबलकॉइन को कानूनी मान्यता मिली और डिजिटल डॉलर को नई दिशा मिली।

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने क्रिप्टोकरेंसी नियमन कानून पर किए हस्ताक्षर, स्टेबलकॉइन को मिलेगी कानूनी मान्यता

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने "जीनियस एक्ट" नामक क्रिप्टोकरेंसी से जुड़ी महत्वपूर्ण नियामक व्यवस्था वाले विधेयक पर हस्ताक्षर कर दिए हैं। यह कानून खासकर स्टेबलकॉइन के नियमन को लेकर लाया गया है, जिससे अमेरिकी डॉलर से जुड़ी डिजिटल मुद्राओं को अधिक स्पष्ट और सुरक्षित ढांचा मिल सकेगा।

विधेयक को अमेरिकी संसद में 308 मतों से समर्थन और 122 मतों से विरोध मिला। इसे आधे डेमोक्रेटिक और अधिकांश रिपब्लिकन सांसदों ने समर्थन दिया, जिससे यह पारित हो गया।

इस कानून को अमेरिका की क्रिप्टो वित्तीय दुनिया में नेतृत्व स्थापित करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है। इसके तहत प्रमुख वित्तीय संस्थानों को स्टेबलकॉइन जारी करने की अनुमति होगी, बशर्ते वे अपने आरक्षित फंड और परिसंपत्तियों की मासिक जानकारी दें।

राष्ट्रपति ट्रम्प ने इस विधेयक को डिजिटल अर्थव्यवस्था की दिशा में एक निर्णायक मोड़ बताया और कहा कि यह क्रिप्टो और वैश्विक वित्त में अमेरिका के प्रभुत्व को मजबूत करेगा। इस मौके पर कॉइनबेस, सर्कल, टीथर और जेमिनी जैसी अग्रणी क्रिप्टो कंपनियों के CEO भी मौजूद थे। यह विधेयक उन दो प्रमुख क्रिप्टो कानूनों में से पहला है, जिनकी कांग्रेस से पारित होने की ट्रम्प ने सिफारिश की थी।